है उम्मीद की एक दिन वो मिलेगी
मेरी लगन और महेनत से ही मिलेगी
परीक्षा ले रहीं हैं परिस्थितियां मेरी
ले लें जी भरकर ले लें
पर मुझे है उम्मीद की एक दिन जरूर मिलेगी,
होंगे वो सपने मेरे भी पूरे
जिन्हें देखा हैं मेंने अपने
प्यार और परिवार के साथ
जिस दिन वो मुझे मिलेगी,
उडुंगी में भी आसमां के सातवें स्तर पर
उडंते पंछियों की तरह
एक दिन वो जरूर मिलेगी वो,
तब जी लुंगी अधुरी जिंदगी को
पूरी चाह के साथ
समेट लुंगी दुनिया को पूरे
उल्लास के साथ
जिस दिन वो मुझे भाग और
सच्चाई के साथ
है उम्मीद की एक दिन वो आएगा
जब मुझको भी नौकरी मिलेगीण्
जो मेहनत में यकीं रखते हों उन्हें सफलता की चिंता क्यों..
ReplyDeleteखुद पर रखो विश्वास..आज में जियो कल की चिंता क्यों..
(बहुत आगे बढ़ोगी Don't worry...)
कविता पूरी नहीं है दोस्त, इसे पूरा करो..........
ReplyDeleteअब नौकरी मिल गई है..... हा...हा...हा...हा...
Deletekya pura nahe hai aap pura ker do
ReplyDeleteअब नौकरी मिल गई है..... हा...हा...हा...हा.
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